हरिद्वार 16 जूलाई। स्वामी दर्शनानन्द इंन्स्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट एंड टेक्नोलॉजी संस्थान में पीपल, जामून एवं अन्य फलों के पौधें लगायें गये। संस्थान महानिदेशक प्रो0 एस0सी0धमीजा ने अपने सम्बोधन में प्रकृति के लिए पेड़ पौधों के महत्व के सम्बन्ध में अपने विचार व्यक्त किये।
उनके अनुसार औद्योगीकरण, नगरीकरण आदि ने हरित जंगलों को कंकरीट जंगलों में परिवर्तित कर दिया है, जिसने मानव जाती के भविष्य को अनिश्चतता की और धकेल दिया है। प्रो0 धमीजा ने सुझाव दिया कि जिन योजनाओं के कारण पेड़ों को काटा जाता है उन पर यह पाबंदी होनी चाहिए कि वे काटे गये पेड़ों की गिनती के अनुसार दोगुणा पोधारोपण करें और उनकी खाद-पानी आदि की व्यवस्था अपने उपर लें, अन्यथा प्रकृति से खिलवाड़ के फलस्वरूप होने वाले दुष्परिणामों को कोई नही रोक पायेगा।
संस्थान के प्रधानाचार्य प्रो0 अशोक कुमार गोतम ने बताया कि हरेला पर्व हमें नई ऋतु के शुरू होने की सूचना देता है। हरेला शब्द का स्रोत हरियाली से है। उत्तराखण्ड में देवाधिदेव महादेव शिव की विशेष अनुकम्पा हैं ओर इस क्षेत्र में उनका वास और ससुराल होने के कारण यहां के लोगों में उनके प्रति विशेष श्रद्धा और आदर का भाव रहता है।
इसी लिए श्रावण मास के हरेला पर्व का महत्व भी इस क्षेत्र में विशेष होता है।
इस मौके पर संस्थान की निदेशक डॉ0 जयलक्ष्मी, डॉ0 राहुल कुमार, दीप्ती चौहान, विरेन्द्र राय, अमान उल्लाह, उमेश कुमार, वर्षा वर्मा, अभिलाषा चौहान, आशिष कुमार, पंकज चौधरी, उमिषा, प्रियंका, आयुश कुमार, प्रशांत कुमार, दिव्या राजपूत, द्रीगपाल आदि उपस्थित रहे।
सरस्वती विद्या मंदिर में भी मनाया गया हरेला पर्व
सरस्वती विद्या मंदिर इंटर कॉलेज मायापुर हरिद्वार में राष्ट्रीय सेवा योजना की इकाई द्वारा आज हरेला पर्व मनाया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ विद्या भारती के प्रदेश निरीक्षक डॉ विजय पाल सिंह एवं उप प्रधानाचार्य अजय सिंह द्वारा सरस्वती वंदना के साथ हुआ। विद्यालय परिसर में पौधा रोपण करते हुए डॉ विजय पाल सिंह ने कहा कि आज पूरे प्रदेश में हरेला पर्व मनाया जाता है जिसका प्रमुख उद्देश्य प्रकृति का संरक्षण करना है। इस अवसर पर लोग प्रकृति की देवी के रूप में पूजा करते हैं। हमें आज संकल्प लेना चाहिए कि हर वर्ष एक पौधा अवश्य लगाएं और उसका संरक्षण करें। पेड़ पौधों का रोपण एवं पोषण करना चाहिए तभी मानव के सतत विकास का संकल्प पूरा हो सकता है। राष्ट्रीय सेवा योजना के द्वारा विद्यालय परिसर में 100 से अधिक पौधे लगाए गए।
कार्यक्रम अधिकारी दीपक कैंतुरा एवं शिक्षको अंबादत, कृष्णगोपाल, प्रकाश, अर्जुन, मोनिका, गीता, नीलम द्वारा भैया बहनों को हरेला पर्व के विषय में जानकारी दी गई। स्वयं सेवकों मे भूमि, आस्था, राहुल आदि स्वयं सेवकों द्वारा पर्यावरण संरक्षण के बिंदु सभी को बताए गए।