हरिद्वार 14 अक्टूबर 2022। हरिद्वार में 2021 महाकुंभ से पूर्व हुए विकास कार्यों की पोल कुछ इस तरह खुल रही है कि अधिकांश पुलो पर लगे एक्सपेंशन जोड़ खराब हो गए हैं और रोजाना पुल निर्माण करने वाली कंपनी उनकी मरम्मत करती हुई दिखाई देती है, इसको कई बार हर ईटीवी ने अपने सोशल मीडिया के जरिए लाइव भी दिखाया है और अक्सर हम यह मुद्दा उठाते रहते है।
कहीं रास्ता बंद करके ठीक किया जाता है तो कहीं चलते हुए रास्ते पर ही एक्सपेंशन ज्वाइंट ठीक करने का कार्य चल रहा है।
लेकिन आज हरिद्वार के प्रेम नगर चौराहे स्थित nh-58 पर काम कर रही कंपनी की बड़ी लापरवाही सामने आई जब सुबह बिना किसी सुरक्षा दृष्टि से कार्य किया जा रहा था।
नीचे सड़क चल रही थी और ऊपर से सड़क पर पत्थर गिर रहे थे, ना ही नीचे कंपनी का कोई सेफ्टी इंजीनियर था और ना ही क्षेत्र में बैरिकेडिंग बोर्ड या सेफ्टी कोन लगाए गए थे
और इसका परिणाम भी यह हुआ कि रास्ते से गुजर रहे कनखल स्थित एक व्यक्ति के हेलमेट के ऊपर आकर बड़ा पत्थर गिरा जिससे वह बाल-बाल बच गया।
घटना में गुजर रहे व्यक्ति का हेलमेट भी टूट गया वह कनखल में अपने निवास से ज्वालापुर मार्केट जा रहा था।
लेकिन गलत काम होता देख उसने खुद जाकर ऊपर पूरे घटना का वीडियो बनाया और वीडियो में दिखाई दे रहा है कि किस तरह से वह आपबीती बयां कर रहा है।
सबसे बड़ी बात तो यह है कि काम के दौरान साइट पर ठेकेदार से लेकर साइट इंजीनियर, सेफ्टी इंजीनियर और एनएच का सुपरवाइजर या कोई अधिकारी भी मौजूद नहीं था। यह घोर लापरवाही है और ऐसे कार्यों से किसी की जान भी जा सकती थी।
गनीमत थी कि जिस व्यक्ति के ऊपर टूटा हुआ पत्थर गिरा उसने हेलमेट पहना हुआ था। अब देखना यह होगा कि इस खबर के बाद एनएच के अधिकारी इस पर क्या संज्ञान लेते हैं! या यूं ही हरिद्वार में बेपरवाह मजदूर किसी भी खतरनाक काम को अंजाम देते रहेंगे।
खुलने लगी विकास की पोल
हरिद्वार में हुए 2021 महाकुंभ से पूर्व राष्ट्रीय राजमार्ग के चौड़ीकरण और जाम वाली क्षेत्रों में ऊंचे पुलों का निर्माण हुआ था। लेकिन अधिकांश पुलो एक्सपशन ज्वाइंट 1 साल के अंदर ही खराब होने लगे और गाड़ियां गड्ढों में घुसने लगी।
इसका नतीजा यह भी हुआ की एनएच पर गुजरने वाली गाड़ियां हादसे का शिकार होने लगी। इसको जल्दबाजी में काम की गुणवत्ता से समझौता कहे या फिर कमीशन खोरी का नतीजा लेकिन राष्ट्रीय राजमार्ग पर इस तरह से निर्माण होना दिखाता है कि देश में लगातार हो रहे निर्माण कार्यों की क्या स्थिति है।