हरिद्वार 25 जनवरी 2023। भूपतवाला स्थित श्री सीताराम धाम में साकेत वासी महंत मोहन दास रामायणी महाराज की चतुर्थ पुण्यतिथि के अवसर पर गुरुजन स्मृति समारोह में संत समाज ने उनका भावपूर्ण स्मरण करते हुए उन्हें श्रद्धा सुमन अर्पित किए।
हरिद्वार नगर मजिस्ट्रेट अवधेश कुमार सिंह एवं एसएललो बृजेश तिवारी भी सीताराम धाम में पहुंचे और उन्होंने साकेत वासी महंत मोहनदास रामायणी को अपने श्रद्धा सुमन अर्पित किए। आश्रम के परमाध्यक्ष महंत सूरज दास महाराज के सानिध्य में आयोजित श्रद्धांजलि समारोह को संबोधित करते हुए महंत रघुवीर दास महाराज ने कहा कि सनातन धर्म संस्कृति को जीवन समर्पित करने वाले साकेतवासी महंत मोहन दास रामायणी महाराज महान संत थे।
सभी को उनके आदर्श पूर्ण जीवन से प्रेरणा लेते हुए मानव कल्याण में योगदान का संकल्प लेना चाहिए। कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए महामंडलेश्वर स्वामी हरिचेतनानंद महाराज ने कहा कि साकेतवासी महंत मोहन दास रामायणी का पूरा जीवन परमार्थ को समर्पित रहा। उनके द्वारा प्रदत्त शिक्षाओं वा ज्ञान का अनुसरण करते हुए उनके शिष्य महंत सूरज दास जिस प्रकार उनके अधूरे कार्य को आगे बढ़ा रहे हैं। उससे युवा संतो को प्रेरणा लेनी चाहिए।
महंत सूरजदास महाराज ने सभी संत महापुरुषों का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि पूज्य गुरुदेव साकेत वासी महंत मोहन दास रामायणी विलक्षण संत थे। सदैव ईश्वरीय आराधना में लीन रहने वाले गुरुदेव की कृपा व आशीर्वाद से वे उनके द्वारा स्थापित सेवा प्रकल्प ओ को आगे बढ़ाते हुए मानव कल्याण में योगदान कर रहे हैं। महामंडलेश्वर स्वामी ललितानंद गिरि महाराज ने कहा कि योग्य गुरु को ही सुयोग्य शिष्य की प्राप्ति होती है। महंत सूरज दास योग्य शिष्य के रूप में अपने गुरुदेव साकेत वासी महंत मोहन दास रामायणी की सेवा परंपरा को जिस प्रकार आगे बढ़ा रहे हैं।
वह प्रशंसनीय है पूर्व नगरपालिका अध्यक्ष सतपाल ब्रह्मचारी एवं स्वामी श्री रामकृष्ण महाराज ने कहा कि साकेत वासी महंत मोहन दास रामायणी संत समाज के प्रेरणा स्रोत थे। समाज को ज्ञान की प्रेरणा देकर सद्मार्ग पर अग्रसर करना ही उनका उद्देश्य था। बाबा हठयोगी महाराज ने कहा कि साकेतवासी महंत मोहन दास रामायणी धर्म शास्त्रों के विलक्षण विद्वान थे, उनके विचारों और आदर्शों पर चलते हुए राष्ट्रवाद धर्म की सेवा करना ही उन्हें सच्ची श्रद्धांजलि है।
इस अवसर पर महामंडलेश्वर स्वामी चिदविलासानंद, महामंडलेश्वर कमलेशानंद, महंत जगजीत सिंह शास्त्री, महंत बाल गिरी, स्वामी हरिहरानंद, महंत रवि देव शास्त्री, महंत प्रहलाद दास, महंत बिहारी शरण, महंत अंकित शरण, स्वामी ज्ञानानंद शास्त्री, आदि मौजूद थे। मुख्य यजमान रतन लाल गर्ग, राजेश रस्तोगी, पदम प्रकाश सुबेदी ने साकेत वासी महंत मोहनदास रामायणी को श्रद्धा सुमन अर्पित किए।